न्यूज डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Updated Mon, 08 Jun 2020 06:11 PM IST
पूर्वी लद्दाख में भारत-चीन के बीच चल रहे गतिरोध को शांतिपूर्वक ढंग से सुलझाए जाने की कवायद जारी है। दोनों तरफ की सेनाओं के उच्चाधिकारियों के बीच हाल ही में बैठक भी हुई थी और इसमें सकारात्मक नतीजों की बात कही गई है। हालांकि इन सबके बीच चीन ने वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) के आसपास अपने इलाके में हेलीकॉप्टरों की गतिविधियां बढ़ा दी हैं।
समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, चीनी हेलिकॉप्टरों की गतिविधियों में पिछले 7 से 8 दिनों में काफी तेजी देखी गई है। सूत्रों ने बताया है कि हेलिकॉप्टरों की तेज गतिविधियों का कारण एलएसी के साथ विभिन्न स्थानों पर तैनात चीनी सैनिकों को मदद प्रदान करना हो सकता है।
सूत्रों की मानें तो एलएसी के समीप तैनात चीनी हेलिकॉप्टरों के बेड़े में एमआई-17एस और स्थानीय मध्यम-लिफ्ट दोनों तरह के हेलिकॉप्टर शामिल हैं।
बीते कुछ महीनों में पूर्वी लद्दाख सेक्टर में भारतीय इलाकों के चारों ओर बड़े पैमाने पर चीनी हेलिकॉप्टर उड़ान भर रहे हैं। इन इलाकों में गलवान क्षेत्र भी शामिल है। सूत्रों ने यह भी बताया कि एक समय तो चीनी हेलिकॉप्टर गलवान इलाके में भारत के सड़क निर्माण स्थल पर भी मंडराया था। चीन की तरफ से ऐसी हरकतें आम हैं और अक्सर उसके हेलिकॉप्टर हवाई सीमा का उल्लंघन कर एलएसी पर भारतीय इलाकों के पास गश्त करते रहे हैं।
चीन की इन्हीं हरकतों ने पिछले महीने भारतीय वायु सेना को लद्दाख में अपने लड़ाकू विमानों से गश्त के लिए मजबूर किया था। उस वक्त भी चीनी सेना के हेलिकॉप्टरों को एलएसी के करीब उड़ान भरते हुए पाया गया था। यह घटना उस वक्त हुई थी जब मई के पहले और दूसरे हफ्ते में चीनी सैनिकों और भारतीय जवानों की झड़पें हुई थीं। उस दौरान चीनी सेना के हेलिकॉप्टरों ने एलएसी के काफी करीब से उड़ान भरी थी। इस हरकत के बाद ही भारतीय वायुसेना के लड़ाकू विमानों ने भी इलाके में पेट्रोलिंग की थी।
पूर्वी लद्दाख में भारत-चीन के बीच चल रहे गतिरोध को शांतिपूर्वक ढंग से सुलझाए जाने की कवायद जारी है। दोनों तरफ की सेनाओं के उच्चाधिकारियों के बीच हाल ही में बैठक भी हुई थी और इसमें सकारात्मक नतीजों की बात कही गई है। हालांकि इन सबके बीच चीन ने वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) के आसपास अपने इलाके में हेलीकॉप्टरों की गतिविधियां बढ़ा दी हैं।
समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, चीनी हेलिकॉप्टरों की गतिविधियों में पिछले 7 से 8 दिनों में काफी तेजी देखी गई है। सूत्रों ने बताया है कि हेलिकॉप्टरों की तेज गतिविधियों का कारण एलएसी के साथ विभिन्न स्थानों पर तैनात चीनी सैनिकों को मदद प्रदान करना हो सकता है।
सूत्रों की मानें तो एलएसी के समीप तैनात चीनी हेलिकॉप्टरों के बेड़े में एमआई-17एस और स्थानीय मध्यम-लिफ्ट दोनों तरह के हेलिकॉप्टर शामिल हैं।
बीते कुछ महीनों में पूर्वी लद्दाख सेक्टर में भारतीय इलाकों के चारों ओर बड़े पैमाने पर चीनी हेलिकॉप्टर उड़ान भर रहे हैं। इन इलाकों में गलवान क्षेत्र भी शामिल है। सूत्रों ने यह भी बताया कि एक समय तो चीनी हेलिकॉप्टर गलवान इलाके में भारत के सड़क निर्माण स्थल पर भी मंडराया था। चीन की तरफ से ऐसी हरकतें आम हैं और अक्सर उसके हेलिकॉप्टर हवाई सीमा का उल्लंघन कर एलएसी पर भारतीय इलाकों के पास गश्त करते रहे हैं।
चीन की इन्हीं हरकतों ने पिछले महीने भारतीय वायु सेना को लद्दाख में अपने लड़ाकू विमानों से गश्त के लिए मजबूर किया था। उस वक्त भी चीनी सेना के हेलिकॉप्टरों को एलएसी के करीब उड़ान भरते हुए पाया गया था। यह घटना उस वक्त हुई थी जब मई के पहले और दूसरे हफ्ते में चीनी सैनिकों और भारतीय जवानों की झड़पें हुई थीं। उस दौरान चीनी सेना के हेलिकॉप्टरों ने एलएसी के काफी करीब से उड़ान भरी थी। इस हरकत के बाद ही भारतीय वायुसेना के लड़ाकू विमानों ने भी इलाके में पेट्रोलिंग की थी।
Source link