न्यूज डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Updated Tue, 09 Jun 2020 04:01 PM IST
सांकेतिक तस्वीर
– फोटो : फाइल फोटो
दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट ने मंगलवार को आतंकी हमले की योजना बनाने के आरोप में गिरफ्तार हिना बेग की अंतरिम जमानत याचिका खारिज कर दी है। हिना बेग पर देश में सीएए विरोध प्रदर्शन के दौरान कथित तौर पर एक आतंकी हमले की योजना बनाने का आरोप है। मामले में अगली सुनवाई 11 जून को की जाएगी।
हिना बेग रविवार को एनआईए की हिरासत में कोरोना पॉजिटिव पाई गई थी। जिसके बाद कोर्ट ने उन्हें तत्काल प्रभाव से लोक नायक जय प्रकाश अस्पताल में भर्ती कराने की निर्देश दिए थे। हालांकि कोर्ट ने कोर्ट ने उनके पति जहानजीब सामी और एक अन्य आरोपी अब्दुल बासित को इस मामले में न्यायिक हिरासत में भेज दिया था, क्योंकि एजेंसी ने उनकी और रिमांड मांग नहीं की थी।
बेग के वकील एम एस खान ने उनके लिए दो महीने के लिए अंतरिम जमानत की मांग करते हुए एक अर्जी दायर की थी। जिसमें कहा गया था कि दिल्ली में कोरोनो वायरस के मामलों की संख्या बढ़ती जा रही है और सरकार को इससे निपटने के लिए संघर्ष करना पड़ रहा है। अर्जी में आगे कहा गया था कि सरकारी अस्पतालों में उचित उपचार सुविधाओं की कमी है।
एजेंसी के मुताबिक महिला को इस्लामिक स्टेट की विचारधारा को बढ़ावा देने और नागरिकता (संशोधन) अधिनियम के खिलाफ विरोध प्रदर्शन के लिए उकसाने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। सभी आरोपियों की कोरोना जांच 6 जून को अदालत के निर्देश पर कराई गई थी, जबकि उनकी 10 दिन के रिमांड की अवधि रविवार को समाप्त हो गई थी।
दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट ने मंगलवार को आतंकी हमले की योजना बनाने के आरोप में गिरफ्तार हिना बेग की अंतरिम जमानत याचिका खारिज कर दी है। हिना बेग पर देश में सीएए विरोध प्रदर्शन के दौरान कथित तौर पर एक आतंकी हमले की योजना बनाने का आरोप है। मामले में अगली सुनवाई 11 जून को की जाएगी।
हिना बेग रविवार को एनआईए की हिरासत में कोरोना पॉजिटिव पाई गई थी। जिसके बाद कोर्ट ने उन्हें तत्काल प्रभाव से लोक नायक जय प्रकाश अस्पताल में भर्ती कराने की निर्देश दिए थे। हालांकि कोर्ट ने कोर्ट ने उनके पति जहानजीब सामी और एक अन्य आरोपी अब्दुल बासित को इस मामले में न्यायिक हिरासत में भेज दिया था, क्योंकि एजेंसी ने उनकी और रिमांड मांग नहीं की थी।
बेग के वकील एम एस खान ने उनके लिए दो महीने के लिए अंतरिम जमानत की मांग करते हुए एक अर्जी दायर की थी। जिसमें कहा गया था कि दिल्ली में कोरोनो वायरस के मामलों की संख्या बढ़ती जा रही है और सरकार को इससे निपटने के लिए संघर्ष करना पड़ रहा है। अर्जी में आगे कहा गया था कि सरकारी अस्पतालों में उचित उपचार सुविधाओं की कमी है।
एजेंसी के मुताबिक महिला को इस्लामिक स्टेट की विचारधारा को बढ़ावा देने और नागरिकता (संशोधन) अधिनियम के खिलाफ विरोध प्रदर्शन के लिए उकसाने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। सभी आरोपियों की कोरोना जांच 6 जून को अदालत के निर्देश पर कराई गई थी, जबकि उनकी 10 दिन के रिमांड की अवधि रविवार को समाप्त हो गई थी।
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