Trump Furious Over The Violence In The Cities Of America, Told The Governors Of Cities Weak – अमेरिका के 40 शहरों में लगा कर्फ्यू, भड़के ट्रंप ने गवर्नरों को बताया कमजोर, कहा- दंगाइयों पर हो सख्त कार्रवाई




अमेरिका पिछले कुछ दिनों से हिंसा की आग में जल रहा है। वाशिंगटन समेत 40 शहरों में कर्फ्यू लागू है। ऐसे में शहरों में भड़की हिंसा को लेकर राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने अपना गुस्सा प्रभावित शहरों के राज्यपालों पर उतारा है। कई शहरों में हुए दंगों को देखते हुए ट्रंप ने यहां के गवर्नरों को कमजोर करार दिया है। इसके अलावा अमेरिकी शहरों में हिंसक विरोध प्रदर्शनों के दौरान आग लगाए जाने और चोरी की घटनाओं पर ट्रंप ने गवर्नरों से सख्त कार्रवाई की मांग की है।

ट्रंप ने एक वीडियो टेलीकॉन्फ्रेंस पर राज्यपालों से बात की। इस बैठक में कानून प्रवर्तन और राष्ट्रीय सुरक्षा अधिकारी भी शामिल थे। इस दौरान ट्रंप ने राज्य के नेताओं को बताया कि उन्हें बहुत कठिन काम करना है। हिंसा पर भड़के ट्रंप ने कहा, “आप में से ज्यादातर कमजोर हैं, आपको हिंसा कर रहे लोगों को गिरफ्तार करना होगा।”

क्या है मामला?

दरअसल हाल ही में अमेरिका के मिनियापोलिस शहर में एक अफ्रीकी मूल के अमेरिकी शख्स की पुलिस बर्बरता से मौत हो गई, जिसके बाद इस घटना का वीडियो सामने आया। वीडियो में एक अश्वेत को हथकड़ी लगी है और वह जमीन पर उल्टा लेटा है। एक पुलिस अफसर पांच मिनट से ज्यादा समय तक उसकी गर्दन पर अपना घुटना गढ़ाए रहता है। बाद में उस आदमी की मौत हो जाती है। 

वीडियो से शुरू हुआ प्रदर्शन

मरने वाले अश्वेत का नाम जॉर्ज फ्लॉयड था। अमेरिका में इस मामले को लेकर कई जगह विरोध-प्रदर्शन शुरू हो गए। वीडियो में सुना जा सकता है कि करीब 40 साल का जॉर्ज लगातार पुलिस अफसर से घुटना हटाने को कहता रहा। वह कहता है, ‘आपका घुटना मेरी गर्दन पर है, मैं सांस नहीं ले पा रहा हूं…’, धीरे-धीरे उसकी हरकत बंद हो जाती है। इसके बाद अफसर कहते  हैं ‘उठो और कार में बैठो’ लेकिन कोई प्रतिक्रिया न आने पर उसे अस्पताल ले जाया गया, जहां उसकी मौत हो जाती है।

कार्यवाई

मिनियापोलिस के मेयर जैकब फ्रे ने जॉर्ज फ्लॉयड की हिरासत में मौत के बाद चार पुलिस अधिकारियों पर त्वरित कार्रवाई की। चारों पुलिस वालों को बर्खास्त कर दिया गया।

कई जगहों पर हुई लूट

कई शहरों में प्रदर्शनकारियों की तरफ से दुकानों को लूटा गया और पुलिस की गाड़ियों में आग लगा दी गई।

भीड़ पर काबू पाने के लिए द नेशनल गार्ड की तैनाती

हिंसा और दंगाइयों से निपटने के लिए रिजर्व मिलिट्री द नेशनल गार्ड के पांच हजार जवानों को वाशिंगटन के अलावा 15 राज्यों में लगाए गया है।

प्रदर्शनकारियों की गिरफ्तारी

वाशिंगटन डीसी में जहां 17 लोगों को गिरफ्तार किया गया वहीं करीब 17 शहरों से करीब 1,400 प्रदर्शनकारियों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। 

ट्रंप के ट्वीट की आलोचना

थाने को आग लगाए जाने के बाद राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने ट्वीट किया कि जब लूटिंग शुरू होती है तो शूटिंग भी होती है। उनके इस ट्वीट की काफी आलोचना भी हुई जिसके बाद ट्विटर ने इसे हाइड करते हुए कहा कि इस ट्वीट में हिंसा की प्रशंसा की गई है और इस तरह यह ट्विटर के नियमों का उल्लंघन है। हालांकि ट्विटर ने ट्रंप के इस ट्वीट को डिलीट नहीं किया है।

1886 में बनी चर्च आग के हवाले

1886 में व्हाइट हाउस के पास बने सेंट जॉन्स चर्च को नाराज प्रदर्शनकारियों ने आग के हवाले कर दिया। इसे चर्च ऑफ प्रेसिडेंट्स भी कहा जाता है क्योंकि व्हाइट हाउस में रहने वाले राष्ट्रपति यहां आते रहते हैं।

हैरान रह गई ट्रंप की टीम

प्रदर्शनकारियों की भीड़ जब व्हाइट हाउस के बाहर आई तब इस भीड़ को पीछे हटाने में सीक्रेट सर्विस और यूनाइटेड स्टेट्स पार्क पुलिस को काफी मशक्कत करना पड़ी। ट्रंप की सुरक्षा में लगी टीम भी हैरान थी कि इतनी बड़ी तादाद में यहां प्रदर्शनकारी कैसे एकत्रित हो गए। ट्रंप को कुछ देर बंकर में ले जाया गया लेकिन यह पता नहीं चला है कि मेलानिया और बैरन ट्रंप को भी बंकर में ले जाया गया या नहीं।




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