संवाद न्यूज एजेंसी, संगरूर ( पंजाब)
Updated Tue, 12 May 2020 09:57 PM IST
मालेरकोटला में मिल वर्करों ने पथराव किया।
– फोटो : संवाद न्यूज एजेंसी
मालेरकोटला में स्थित अरिहंत स्पिनिंग मिल में सोमवार रात बड़ी तादाद में भड़के कर्मियों ने अपनी मांगों को लेकर मिल के मुख्य गेट पर जमकर बवाल किया। वर्करों द्वारा किए पथराव में एसडीएम, डीएसपी और सहायक थानेदार घायल हो गए। इसके बाद पुलिस ने 400 अज्ञात लोगों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया।
जानकारी के अनुसार सोमवार रात करीब साढ़े नौ बजे मिल में काम करने वाले वर्करों ने मिल मालिकों पर उनकी तनख्वाह में कटौती करने और मिल में स्थित दुकानों में महंगे भाव का सामान बेचने का आरोप लगाते हुए प्रदर्शन करना शुरू कर दिया। उन्होंने मिल परिसर से बाहर जाने की कोशिश की। इसका पता चलते ही सिविल और पुलिस प्रशासन ने मौके पर पहुंचकर वर्करों को समझाकर शांत करते हुए फिर मिल के र्क्वाटरों में लौटने के लिए मनाया।
परंतु कुछ समय बाद ही फिर वर्करों ने मिल से बाहर आने की कोशिश की। इसी दौरान उनकी मिल के बाहर तैनात पुलिस के साथ उनकी झड़प हो गई। इस पर वर्करों ने पथराव शुरू कर दिया। इससे एसडीएम विक्रमजीत सिंह पांथे, डीएसपी सुमित सूद और सहायक थानेदार जसविंदर सिंह घायल हो गए। उन्हें सिविल अस्पताल पहुंचाया गया। देर रात तक यह हंगामा चलता रहा। इसके बाद पुलिस ने वर्करों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया।
अरिहंत स्पिनिंग मिल के वर्करों का कहना था कि मिल प्रबंधक उनकी कटौती करके तनख्वाह दे रहे हैं और मिल के अंदर दुकानों से महंगे भाव पर राशन, सब्जियां वगैरह मिलती हैं। वहीं, मिल के एचआर मैनेजर राजकुमार ने आरोपों को नकारते हुए कहा कि मिल में करीब 1350 वर्कर काम करते हैं।
लॉकडाउन/कर्फ्यू के दौरान मिल के बंद होने के बावजूद भी मिल प्रबंधक इनकी जरूरतें पूरी करने के साथ-साथ डॉक्टरी सहायता भी मुहैया करवा रहे हैं। किसी की भी तनख्वाह में कटौती नहीं की गई। प्रशासन से मंजूरी लेकर कुछ शर्तों के अंतर्गत 11 अप्रैल से मिल चलाई गई और वर्करों को काम के लिए बुलाया गया था। जो वर्कर काम से गैरहाजिर रहे हैं, वह अब अनावश्यक समस्या खड़ी कर रहे हैं। वहीं, मंगलवार को भी मिल में माहौल तनावपूर्ण रहा। मिल के अंदर भारी तादाद में पुलिस और फायरब्रिगेड कर्मचारी गाड़ी के साथ तैनात रहे।
मालेरकोटला में स्थित अरिहंत स्पिनिंग मिल में सोमवार रात बड़ी तादाद में भड़के कर्मियों ने अपनी मांगों को लेकर मिल के मुख्य गेट पर जमकर बवाल किया। वर्करों द्वारा किए पथराव में एसडीएम, डीएसपी और सहायक थानेदार घायल हो गए। इसके बाद पुलिस ने 400 अज्ञात लोगों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया।
जानकारी के अनुसार सोमवार रात करीब साढ़े नौ बजे मिल में काम करने वाले वर्करों ने मिल मालिकों पर उनकी तनख्वाह में कटौती करने और मिल में स्थित दुकानों में महंगे भाव का सामान बेचने का आरोप लगाते हुए प्रदर्शन करना शुरू कर दिया। उन्होंने मिल परिसर से बाहर जाने की कोशिश की। इसका पता चलते ही सिविल और पुलिस प्रशासन ने मौके पर पहुंचकर वर्करों को समझाकर शांत करते हुए फिर मिल के र्क्वाटरों में लौटने के लिए मनाया।
परंतु कुछ समय बाद ही फिर वर्करों ने मिल से बाहर आने की कोशिश की। इसी दौरान उनकी मिल के बाहर तैनात पुलिस के साथ उनकी झड़प हो गई। इस पर वर्करों ने पथराव शुरू कर दिया। इससे एसडीएम विक्रमजीत सिंह पांथे, डीएसपी सुमित सूद और सहायक थानेदार जसविंदर सिंह घायल हो गए। उन्हें सिविल अस्पताल पहुंचाया गया। देर रात तक यह हंगामा चलता रहा। इसके बाद पुलिस ने वर्करों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया।
मिल के मैनेजर ने कहा- आरोप झूठे, काम से गैरहाजिर रहे वर्कर मचा रहे हंगामा
अरिहंत स्पिनिंग मिल के वर्करों का कहना था कि मिल प्रबंधक उनकी कटौती करके तनख्वाह दे रहे हैं और मिल के अंदर दुकानों से महंगे भाव पर राशन, सब्जियां वगैरह मिलती हैं। वहीं, मिल के एचआर मैनेजर राजकुमार ने आरोपों को नकारते हुए कहा कि मिल में करीब 1350 वर्कर काम करते हैं।
लॉकडाउन/कर्फ्यू के दौरान मिल के बंद होने के बावजूद भी मिल प्रबंधक इनकी जरूरतें पूरी करने के साथ-साथ डॉक्टरी सहायता भी मुहैया करवा रहे हैं। किसी की भी तनख्वाह में कटौती नहीं की गई। प्रशासन से मंजूरी लेकर कुछ शर्तों के अंतर्गत 11 अप्रैल से मिल चलाई गई और वर्करों को काम के लिए बुलाया गया था। जो वर्कर काम से गैरहाजिर रहे हैं, वह अब अनावश्यक समस्या खड़ी कर रहे हैं। वहीं, मंगलवार को भी मिल में माहौल तनावपूर्ण रहा। मिल के अंदर भारी तादाद में पुलिस और फायरब्रिगेड कर्मचारी गाड़ी के साथ तैनात रहे।
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