न्यूज डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Updated Tue, 12 May 2020 11:06 AM IST
वायुसेना का विमान (फाइल फोटो)
– फोटो : ANI
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यह घटना पिछले हफ्ते लगभग उसी समय घटी जब चीनी और भारतीय सैनिकों के बीच सिक्किम में झड़प हुई थी। सरकारी सूत्र ने समाचार एजेंसी एएनआई को बताया, ‘चीनी सैन्य हेलीकॉप्टर वास्तविक नियंत्रण रेखा के बहुत करीब से उड़ान भर रहे थे। उनके विमानों की गतिविधि पता चलने के बाद भारतीय वायुसेना के लड़ाकू विमान ने क्षेत्र में गश्त लगाई।’
नाम न जाहिर करने की शर्त पर सरकारी सूत्रों ने बताया कि चीनी हेलीकॉप्टर वास्तविक नियंत्रण रेखा को पार करके भारतीय क्षेत्र में नहीं आए। भारतीय वायुसेना अक्सर अपने सुखोई 30 एमकेआई लड़ाकू विमानों और अन्य विमानों के साथ लद्दाख के लेह हवाई अड्डे से उड़ान भरती है।
भारतीय वायुसेना के लेह और थोईस एयरबेस सहित लद्दाख क्षेत्र में दो एयरबेस हैं, जहां लड़ाकू विमान स्थायी रूप से तैनात नहीं हैं, लेकिन लड़ाकू विमान स्क्वाड्रन की एक टुकड़ी साल भर यहां परिचालन की स्थिति में रहती है। अतीत में कई मौकों पर चीनी सैन्य हेलीकॉप्टरों ने लद्दाख सेक्टर में भारतीय हवाई क्षेत्र में प्रवेश किया है।
भारतीय सेना के एक सूत्र के अनुसार पांच और छह मई को, पूर्वी लद्दाख सेक्टर में बता दें कि 10 मई को भारतीय और चीनी सैनिकों के बीच आमना-सामना हुआ था। हालांकि इस मामले का दोनों पक्षों के बीच स्थानीय स्तर पर हल कर लिया गया था। यह घटना उत्तरी सिक्किम के नाकु ला सेक्टर में हुई थी।
सूत्रों के मुताबिक दोनों पक्षों के बीच हाथापाई हुई। इस क्षेत्र में सड़क परिवहन की कोई सुविधा नहीं है और हेलीकॉप्टर सेवाओं के माध्यम से इसका रख-रखाव किया जाता है। सूत्रों ने बताया कि दोनों देशों की सेनाओं द्वारा नियमित गश्त के दौरान यह झड़प हुई और इसके बाद स्थानीय स्तर पर इस मामले को सुलझा लिया गया था।