विदेश मंत्री एस जयशंकर (फाइल फोटो)
– फोटो : पीटीआई
विदेश मंत्री एस. जयशंकर शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) की बुधवार को होने वाली बैठक में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से भाग लेंगे। एससीओ के सदस्य देशों के विदेश मंत्रियों की इस बैठक में मुख्य तौर पर कोरोना वायरस से निपटने के मुद्दे पर बातचीत की जाएगी।
चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता झाओ लिजियान ने मंगलवार को मीडिया से बातचीत में कहा कि वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान अंतरराष्ट्रीय और क्षेत्रीय मुद्दों के अलावा कोरोना वायरस के खिलाफ आपसी सहयोग पर भी बातचीत की जाएगी।
एक अधिकारी ने यहां पीटीआई से कहा कि कोविड-19 के मुद्दे पर बातचीत के लिए होने वाली यह एक असाधारण बैठक है। एससीओ के विदेश मंत्रियों की नियमित बैठक नौ और 10 जून को मॉस्को में होनी है।
भारतीय अधिकारियों ने बताया कि विदेश मंत्री एस. जयशंकर आठ सदस्य देशों की इस बैठक में शामिल होंगे। भारत और पाकिस्तान को 2017 में इस संगठन का सदस्य बनाया गया था। एससीओ के संस्थापक सदस्यों में चीन, रूस, कजाकिस्तान, किर्गिस्तान, तजाकिस्तान और उज्बेकिस्तान शामिल हैं।
विदेश मंत्री एस. जयशंकर शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) की बुधवार को होने वाली बैठक में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से भाग लेंगे। एससीओ के सदस्य देशों के विदेश मंत्रियों की इस बैठक में मुख्य तौर पर कोरोना वायरस से निपटने के मुद्दे पर बातचीत की जाएगी।
चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता झाओ लिजियान ने मंगलवार को मीडिया से बातचीत में कहा कि वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान अंतरराष्ट्रीय और क्षेत्रीय मुद्दों के अलावा कोरोना वायरस के खिलाफ आपसी सहयोग पर भी बातचीत की जाएगी।
एक अधिकारी ने यहां पीटीआई से कहा कि कोविड-19 के मुद्दे पर बातचीत के लिए होने वाली यह एक असाधारण बैठक है। एससीओ के विदेश मंत्रियों की नियमित बैठक नौ और 10 जून को मॉस्को में होनी है।
भारतीय अधिकारियों ने बताया कि विदेश मंत्री एस. जयशंकर आठ सदस्य देशों की इस बैठक में शामिल होंगे। भारत और पाकिस्तान को 2017 में इस संगठन का सदस्य बनाया गया था। एससीओ के संस्थापक सदस्यों में चीन, रूस, कजाकिस्तान, किर्गिस्तान, तजाकिस्तान और उज्बेकिस्तान शामिल हैं।
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