डिजिटल ब्यूरो, अमर उजाला, नई दिल्ली
Updated Tue, 02 Jun 2020 11:06 PM IST
सांकेतिक तस्वीर
– फोटो : सोशल मीडिया
चीन द्वारा सीमा पर शुरू किए गए गतिरोध के बीच भारत भी अपनी रक्षा क्षमता को मजबूत करने में जुट गया है। इसके तहत 156 उन्नत बीएमपी इन्फैंट्री कॉम्बैट व्हीकल (वाहन) की खरीद को मंजूरी दी गई है। मंगलवार को रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने इस खरीद को मंजूरी दे दी है।
‘मेक इन इंडिया’ पहल को बढ़ावा देते हुए इन्फैंट्री कॉम्बैट व्हीकल्स का निर्माण आयुध निर्माणी बोर्ड (ओएफबी) को सौंपा गया है। इस अपग्रेडेड व्हीकल के भारतीय सेना में शामिल होने के बाद मारक क्षमता काफी बढ़ जाएगी।
उन्नत सुविधाओं वाले बीएमपी 2/2k इन्फैंट्री कॉम्बैट वाहन तेलंगाना स्थित मेडक ऑर्डनेंस फैक्ट्री में तैयार किए जाएंगे। इनके निर्माण पर लगभग 1,094 करोड़ रुपये की लागत आएगी। यह वाहन बीएमपी 2/2K 285 हॉर्स पावर इंजन द्वारा संचालित होगा।
वजन में कम होने के कारण यह वाहन युद्ध के मैदान में अधिक गतिशीलता बनाए रखेगा। इसकी मदद से सामरिक आवश्यकताओं को बहुत कम समय में पूरा किया जा सकेगा। ये वाहन क्रॉस कंट्री इलाके यानी खराब और रेतीले क्षेत्र में भी 65 किलोमीटर प्रतिघंटे की गति से चल सकते हैं।
इसके अलावा पानी के बीच से सात किमी प्रति घंटे की स्पीड से निकल सकते हैं। वाहन का डिजाइन ऐसा है कि ये 0.7 मीटर की 35 डिग्री पर क्रॉस बाधाओं वाली ढलान पर बिना किसी दिक्कत के चल सकता है।
साथ ही इसमें घातक मारक क्षमता प्रणाली भी रहेगी। इन्फैंट्री कॉम्बैट वाहन 2023 तक बनकर तैयार होंगे। इनके चलते मैकेनाइज्ड इन्फैंट्री बटालियनों में ऐसे वाहनों की कमी दूर होगी और सेना की युद्धक क्षमता भी बढ़ जाएगी।
चीन द्वारा सीमा पर शुरू किए गए गतिरोध के बीच भारत भी अपनी रक्षा क्षमता को मजबूत करने में जुट गया है। इसके तहत 156 उन्नत बीएमपी इन्फैंट्री कॉम्बैट व्हीकल (वाहन) की खरीद को मंजूरी दी गई है। मंगलवार को रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने इस खरीद को मंजूरी दे दी है।
‘मेक इन इंडिया’ पहल को बढ़ावा देते हुए इन्फैंट्री कॉम्बैट व्हीकल्स का निर्माण आयुध निर्माणी बोर्ड (ओएफबी) को सौंपा गया है। इस अपग्रेडेड व्हीकल के भारतीय सेना में शामिल होने के बाद मारक क्षमता काफी बढ़ जाएगी।
उन्नत सुविधाओं वाले बीएमपी 2/2k इन्फैंट्री कॉम्बैट वाहन तेलंगाना स्थित मेडक ऑर्डनेंस फैक्ट्री में तैयार किए जाएंगे। इनके निर्माण पर लगभग 1,094 करोड़ रुपये की लागत आएगी। यह वाहन बीएमपी 2/2K 285 हॉर्स पावर इंजन द्वारा संचालित होगा।
वजन में कम होने के कारण यह वाहन युद्ध के मैदान में अधिक गतिशीलता बनाए रखेगा। इसकी मदद से सामरिक आवश्यकताओं को बहुत कम समय में पूरा किया जा सकेगा। ये वाहन क्रॉस कंट्री इलाके यानी खराब और रेतीले क्षेत्र में भी 65 किलोमीटर प्रतिघंटे की गति से चल सकते हैं।
इसके अलावा पानी के बीच से सात किमी प्रति घंटे की स्पीड से निकल सकते हैं। वाहन का डिजाइन ऐसा है कि ये 0.7 मीटर की 35 डिग्री पर क्रॉस बाधाओं वाली ढलान पर बिना किसी दिक्कत के चल सकता है।
साथ ही इसमें घातक मारक क्षमता प्रणाली भी रहेगी। इन्फैंट्री कॉम्बैट वाहन 2023 तक बनकर तैयार होंगे। इनके चलते मैकेनाइज्ड इन्फैंट्री बटालियनों में ऐसे वाहनों की कमी दूर होगी और सेना की युद्धक क्षमता भी बढ़ जाएगी।
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