Army Chief General Manoj Mukund Naravane Visits Ladakh After Border Skirmish At Lac With China – एलएसी पर चीन के साथ तनाव के बीच सेना प्रमुख नरवणे ने किया लद्दाख का दौरा




न्यूज डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Updated Sat, 23 May 2020 09:26 AM IST

सेना प्रमुख ने किया लेह का दौरान
– फोटो : PTI

ख़बर सुनें

भारत और चीन के बीच वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर चल रहे तनाव के बीच सेना प्रमुख मनोज मुकुंद नरवणे शुक्रवार को लद्दाख में 14 कोर के मुख्यालय लेह का दौरा किया। साथ ही इस संवेदनशील क्षेत्र की सुरक्षा के लिए समीक्षा की। इसके बाद वह दिन में ही दिल्ली लौट आए।

यह दौरा भारत के चीन के उस आरोप को खारिज करने के बाद आया है, जिसमें बीजिंग ने आरोप लगाया था कि सीमा पर भारतीय सैनिकों ने तनाव की शुरुआत की और लद्दाख और सिक्किम सेक्टरों में एलएसी को पार किया। साथ ही चीन ने आरोप लगाया था कि चीनी सेना को भारतीय सीमा पर गश्त लगाने में बाधा डाली गई। 

हालांकि, इस घटना के बाद दोनों पक्षों के सैनिकों ने संयम दिखाया और तनाव को कम करने का प्रयास किया गया। 5-6 मई को पेंगोंग झील के पास हुई झड़पों के बाद से, चीन और भारत दोनों की तरफ से सीमा पर अतिरिक्त जवानों को तैनात किया गया है, खासतौर पर लद्दाख की गलवां घाटी में। 

भारत ने चीनी सेना के सुदृढ़ीकरण में लाए जाने के बाद अपने सैन्य स्तरों को बढ़ाया और कथित तौर पर वहां मौजूदगी स्थापित करने के प्रयासों के तहत टेंट और गलवां घाटी में अस्थायी स्थान बनाए।
 

भारत और चीन के बीच वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर चल रहे तनाव के बीच सेना प्रमुख मनोज मुकुंद नरवणे शुक्रवार को लद्दाख में 14 कोर के मुख्यालय लेह का दौरा किया। साथ ही इस संवेदनशील क्षेत्र की सुरक्षा के लिए समीक्षा की। इसके बाद वह दिन में ही दिल्ली लौट आए।

यह दौरा भारत के चीन के उस आरोप को खारिज करने के बाद आया है, जिसमें बीजिंग ने आरोप लगाया था कि सीमा पर भारतीय सैनिकों ने तनाव की शुरुआत की और लद्दाख और सिक्किम सेक्टरों में एलएसी को पार किया। साथ ही चीन ने आरोप लगाया था कि चीनी सेना को भारतीय सीमा पर गश्त लगाने में बाधा डाली गई। 

हालांकि, इस घटना के बाद दोनों पक्षों के सैनिकों ने संयम दिखाया और तनाव को कम करने का प्रयास किया गया। 5-6 मई को पेंगोंग झील के पास हुई झड़पों के बाद से, चीन और भारत दोनों की तरफ से सीमा पर अतिरिक्त जवानों को तैनात किया गया है, खासतौर पर लद्दाख की गलवां घाटी में। 

भारत ने चीनी सेना के सुदृढ़ीकरण में लाए जाने के बाद अपने सैन्य स्तरों को बढ़ाया और कथित तौर पर वहां मौजूदगी स्थापित करने के प्रयासों के तहत टेंट और गलवां घाटी में अस्थायी स्थान बनाए।
 




Source link

Leave a comment